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This particular Assignment references the syllabus chosen for the subject of Hindi, for the July 2024 - January 2025 session. The code for the assignment is MHD-12 and it is often used by students who are enrolled in the MA Degree.
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1. निम्नलिखित में से किन्हीं दो की संदर्भ सहित व्याख्या कीजिए:
(क) कुछ समय को मेरा मन उस बाग के सौंदर्य पान से तृप्त होकर अवर्णनीय सुख अनुभव करने लगा। बाग की ठंडक हवा में घुलकर बह रही थी। कुएं के चारों ओर तरह-तरह के फूल लगे थे। उनकी सारी सुगंध ठंडी हवा लूटे जा रही थी। नाना जाति के पक्षियों का कलरव आकाश में, पेड़ों में, पौधों में सब ओर सुनाई पड़ रहा था। मेरा हृदय पक्षियों के साथ पक्षी, और फूलों के साथ फूल बन बैठा। तब ऐसा लगा, पता नहीं क्यों कविगण अनदेखे स्वर्ग का वर्णन करते हैं। जहां सुख होता है। वहीं स्वर्ग होता है ।
(ख) कुछ दिन पहले पूर्णिमा की एक रात राव साहब और उनकी पत्नी चाँदनी में सैर के लिए निकले थे। ऐसे समय काम से लौटता हुआ अम्माजी का बाप उनके सामने पड़ गया। इतना बड़ा आदमी अब क्या पहचानेगा ! यह सोचता हुआ वह सिर झुकाकर आगे बढ़ने लगा। लेकिन राव साहब ने ही उसे पुकारा। वह भी नाम लेकर ! अम्माजी का बापू फूल उठा था। उस पूरी रात घर में उन्हीं लोगों को लेकर बातें होती रहीं। उसके अगले ही दिन अम्माजी को ले जाकर उसने परिचय कराया था।
(ग) अपने होठों पर पवित्र मुस्कराहट छितराते कबीर झटपट उठ खड़ा हुआ । हैरत भरी निगाहों से लोगों के चेहरे पर बारी-बारी से देख रहा था कि ठाकुर झुंझलाहट दरसाते कहने लगा, "बावले की तरह टग भग क्या देख रहा है? तेरे अहोभाग्य कि देश के मालिक, तीन लोक के नाथ खुद तेरे घर पधारे हैं, तेरी कारीगरी देखने की खातिर । अब उल्लू की तरह आँखें क्या फाड़ रहा है ? कालीन या शॉल हो तो नजर कर।"
2. कालीपट्नम रामाराव की कहानियों की सामाजिक दृष्टि पर प्रकाश डालिए ।
3. पाँच पत्र' कहानी में अभिव्यक्त जीवन दर्शन का विश्लेषण कीजिए ।
4. 'चिता' कहानी की अन्तर्वस्तु का विश्लेषण करते हुए उसकी शिल्पगत विशेषताओं की चर्चा कीजिए ।
5. गोपीनाथ मंहति की कहानियों में आए आदिवासी जीवन का मूल्यांकन कीजिए ।
6. 'अपने लिए शोकगीत' कहानी के प्रमुख चरित्रों पर प्रकाश डालिए ।
1. निम्नलिखित में से किन्हीं दो की संदर्भ सहित व्याख्या कीजिए:
(क) प्रेस में विनायक को छोड़कर और कोई नहीं था। उस दिन के लिए तयशुदा कार्य में दो काम बाकी थे - पहला, दो निमन्त्रण-पत्र कम्पोज करके उसका प्रूफ - शोधन किये अभिनन्दन पत्र में 'करेक्शन लगाकर निकालना और दूसरा, प्रूफ छापना ।
'छापने के लिए कागज़ भी तो काटना होगा।' बुदबुदाते हुए जब वह ट्रेडिल में कसे हुए 'चेस' को खोल रहा था, उसके मन में एक छोटी-सी आशा अंकुरित हुई- बहुत सी साधारण इच्छा, आप चाहें तो बचपना भी कह सकते हैं।
चेस को खोलकर 'स्टोन' पर रखा। वह भी एक विवाह निमन्त्रण कार्ड को ही मैटर था। विनायक ने मैटर में वर के नामवाले अक्षरों को ब्रश से पोंछा स्याही हट जाने T पर चाँदी की तरह उजले अक्षर चमक उठे।
'चिरंजीव श्रीधर - इन अक्षरों के टाइप - दायीं से बायीं ओर जैसा कि आइने में
प्रतिबिम्बित होता है - साफ दिखाई दिये ।
(ख) ठहरो! ठहरो!" कहते हुए हाथ उठाकर उसने दोनों पक्षों को शांत किया। फिर उसने दोनों पक्षों से पूछा, "क्या बात है मैया, क्या मामला है?" उसका स्वर, उसकी अवस्था और पहनावा वृद्धा देखते ही वृद्धा की हिम्मत बँधी आवाज़ कुछ धीमी करके यथासंभव सद्भाव के साथ वह बात बताने लगी, "तुम्हीं बताओ बेटी! यह लोग पानी के लिए आई हैं। यह कोई सरकारी नल तो नहीं है न? पैसा खर्च करके लगाया हुआ है। हर साल म्यूनिसपैलिटी को हम टैक्स भी देते हैं। ऐसे में पहले हमारे बच्चों ने आकर मना किया। इन लोगों ने बात सुनी नहीं। फिर मैंने आकर मना किया। फिर हमारा माली आया, तो वह लड़की कहती है- अगर तू मर्द है, तो कुत्ता छोड़ ! " देखो तो उँगली. भर नहीं है लड़की!" कहकर उँगली से सत्यवती की ओर वृद्धा ने इशारा किया।
(ग) उसके दूसरे दिन फिर डुबती साँझ की बेला में बाघ की दहाड़ सुनाई पड़ी। वह उच्छन्न होकर गरजता घूम रहा है, सचमुच जैसे गरगराती आवाज में संदेश दे रहा है. यहां मेरे पुरखों के जमाने से बाघ का सिंहासन था, वन का राजा है बाघ और अगर बाघ नहीं है तो बाघिन, बाघ के वंश का जो कोई भी बात एक ही है। बीच में पता नहीं कैसे कुछ दिन खाली रह गए थे। लेकिन मैं फिर लौटा हूं, इस वंश का अटूट क्रम फिर शुरू हो गया।" फिर सारी रात पहर पहर चिल्लाते रहे सियार, सचमुच जैसे कि वे बाघ युवराज या बाघ युवरानी के भाट थे। लेडेंग के कुछ लोग इस तरह से भी सोच रहे थे जैसे खुद धूर्व सिंह पहली रात को गरजते गरजते बाघ चला गया कहीं दूर और फिर एक साथ अचानक सियारों ने चिल्लाना शुरू कर दिया जैसे जान बचाने के लिए ही वे इस तरह चीख रहे हों। चिल्लाना बंद हुआ कि जान गई।
2. ट्रेडिल' कहानी के कथानक का विश्लेषण कीजिए ।
3. अपने लिए शोकगीत कहानी के प्रतिपाद्य पर विचार कीजिए ।
4. बघेई कहानी का कथानक बताते हुए उसके महत्व की चर्चा कीजिए ।
5. कोंकणी कहानी संसार का सामान्य परिचय देते हुए 'ओऽरे चुरुंगन मेरे...... कहानी का महत्व स्पष्ट कीजिए।
6. दीनानाथ नादिम का परिचय देते हुए उनकी कहानी 'जवाबी कार्ड का विश्लेषण कीजिए ।
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